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AC Dynamic Braking of Induction Motor(Hindi)



 आज के लेक्चर में हम बात करने वाले है डायनामिक ब्रैकिंग के बारे में। पिछले लेक्चर में हमने रिजेनेरटिव और प्लग्गिंग ब्रैकिंग के बारे में जाना था।
डायनामिक ब्रैकिंग 4 प्रकार की होती है :-
1. AC Dynamic  ब्रैकिंग 
2. Self Excited Capacitor ब्रैकिंग 
3. DC ब्रैकिंग 
4. Zero Sequence ब्रैकिंग

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तो दोस्तों इस लेक्चर में हम बात करते  है AC Dynamic  ब्रैकिंग के बारे में।
1.AC Dynamic ब्रैकिंग :
तो दोस्तों AC  Dynamic ब्रैकिंग में हम तीन फेज मोटर की सप्लाई में से एक फेज निकाल के खुला छोड़ देते है या तो उसे बाकि दो फेज में से किसी फेज के  साथ जोड़ देते है। जब हम मोटर के एक सप्लाई को निकाल के खुला छोड़ देते है तो वो Two Lead Connection कहलाता है और जब हम निकालने के बाद किसी बचे हुए दो फेज में जोड़ देते है तो उसे  Three  Lead Connection  कहलाता है। चलिए ज्यादा समझने के  लिए ये चित्र देखते है।
Fig 1.AC Dynamic Braking

तो दोस्तों जब एक फेज मन लीजिये फेज A डिसकनेक्ट कर दिया जाता है और अगर आपके Stator  में Star Configuration है तो फिर आपका डायग्राम कुछ इस तरह बनेगा।
Fig 2.Stator Diagram during Dynamic Braking


जैसा कि  हम देख सकते है इसमें Ic =-Ib हो जाता है और दो फेज coil(B और C) में  एक  दिशा  में current  फ्लो करेगा ,हाफ cycle में पॉजिटिव और  हाफ cycle में  नेगेटिव। जिसके वजह से Rotating  Magnetic  Field ख़त्म हो जाता है और उसके जगह पर Pulsating Field बन जाता है जिसके कारन Rotor सप्लाई के हाफ  cycle क लिए पॉजिटिव और हाफ cycle के लिए नेगेटिव Torque  महसूस करता है और  रोटर जो कि  पहले Rotating Magnetic फील्ड को चेस कर रहा था अब वो इस Pulsating फील्ड को चेस करेगा।

तो दोस्तों जब रोटर की resistance ज्यादा होती है तो नेगेटिव Torque की वैल्यू बढ़ जाती है। तो हम इस ब्रैकिंग की efficiency बढ़ाने क लिए  हम  Slip Ring के द्वारा Resistance  जोड़ देते है। जैसा कि आप देख सकते है की figure 1 में एक्स्ट्रा resistor  इस्तेमाल किया गया है।

हानि :-
दोस्तों इसका हानि ये है कि मोटर कि single फेजिंग हो जाती है और काफी हीट और शोर पैदा होता है जो कि  मोटर की उम्र को कम करता है। 

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